पुरुषाः
परिभाषा-
वे व्यक्ति जो संवाद में भागीदार होते हैं, पुरुष कहलाते हैं।
संस्कृत में पुरुषों के भेद-
संस्कृत में पुरुषों के तीन भेद होते हैः-
1) प्रथमः पुरुषः - अन्य
2) मध्यमः पुरुषः - श्रोता
3) उत्तमः पुरुषः - वक्ता
💨प्रथमः पुरुषः
जिसके बारे में बात की जाती है वह, प्रथम पुरुष कहलाता है।
यथा- मोहनः क्रीडकः अस्ति।
इस वाक्य में मोहन के सम्बन्ध में बात की जा रही है, अतः मोहन प्रथम पुरुष है।
💦मध्यमः पुरुषः
जिससे बात की जाती है वह, मध्यम पुरुष कहलाता है।
यथा- त्वम् किं करोषि?
इस वाक्य में किसी व्यक्ति से बात की जा रही है, अतः त्वम् मध्यम पुरुष है।
💢उत्तमः पुरुषः
जो बात करने वाला है वह, उत्तम पुरुष कहलाता है।
यथा- अहम् पठनाय गच्छामि।
इस वाक्य में अहम् बात करने वाला है, अतः अहम् उत्तम पुरुष है।
1 टिप्पणियाँ
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